उत्तरकाशी: उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में अक्षय तृतीया के पावन अवसर पर आज गंगोत्री और यमुनोत्री धाम के कपाट आज खुल गए और इसके साथ ही पवित्र चार धाम यात्रा शुरू हो गई। यह तीर्थयात्रा हिमालय के पवित्र तीर्थस्थलों के माध्यम से आध्यात्मिक रूप से महत्वपूर्ण यात्रा की शुरुआत का प्रतीक है। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने इस मौके पर श्रद्धालुओं को शुभकामनाएं दीं।
–भैरव मंदिर में रात्रि विश्राम के लिए रुकी थी देवी गंगा की पालकी
मुकबा गांव में अपने शीतकालीन निवास में छह महीने बिताने के बाद, देवी गंगा की पालकी को मंगलवार को औपचारिक रूप से गंगोत्री धाम के लिए रवाना किया गया। यात्रा भैरवघाटी के भैरव मंदिर में रात्रि विश्राम के लिए रुकी। इसके बाद आज सुबह पालकी गंगोत्री धाम पहुंची और पारंपरिक अनुष्ठानों और वैदिक मंत्रोच्चार के साथ 10:30 बजे कपाट खोले गए। तीर्थ पुरोहित राजेश सेमवाल ने मंगलवार को पुष्टि की थी कि आज कपाट खुलेंगे।
–केदारनाथ धाम के कपाट शुक्रवार को खुलेंगे
केदारनाथ धाम के कपाट शुक्रवार को खुलेंगे, इसके बाद रविवार को बद्रीनाथ धाम के कपाट खुलेंगे। भगवान केदारनाथ की पंचमुखी मूर्ति को सोमवार को विशेष पूजा-अर्चना के बाद ऊखीमठ के ओंकारेश्वर मंदिर से औपचारिक रूप से विदा किया गया। भारत में सबसे पवित्र तीर्थस्थलों में से एक चार धाम यात्रा हर साल हजारों श्रद्धालुओं को आकर्षित करती है। यह यात्रा यमुनोत्री, गंगोत्री, केदारनाथ और बद्रीनाथ से होकर दक्षिणावर्त दिशा में जाती है, जिनमें से प्रत्येक स्थल सनातन परंपरा में अत्यधिक धार्मिक महत्व रखता है। तीर्थ पुरोहित राजेश सेमवाल ने बताया कि मां यमुना की पालकी भी आज सुबह खरसाली स्थित अपने शीतकालीन निवास से यमुनोत्री धाम के लिए रवाना हुई। श्रद्धालुओं के स्वागत के लिए मंदिर के कपाट सुबह 11:55 पर खुले।
–यात्रा भक्ति व अमूल्य भावनाओं के अनूठे संगम का प्रतीक : सीएम
सीएम धामी ने एक्स पर पोस्ट में लिखा, अक्षय तृतीया के पावन अवसर पर आज यमुनोत्री और गंगोत्री धाम के कपाट श्रद्धालुओं के दर्शनार्थ विधिवत रूप से खोल दिए गए और चार धाम यात्रा-2025 शुरू हो गई। यह पवित्र यात्रा सनातन संस्कृति की आस्था, भक्ति और अमूल्य भावनाओं के अनूठे संगम का प्रतीक है। मुख्यमंत्री ने कहा, राज्य सरकार की ओर से सभी श्रद्धालुओं का चार धाम यात्रा में स्वागत और अभिनंदन है। हमारी प्रार्थना है कि मां यमुना और मां गंगा के आशीर्वाद से सभी श्रद्धालुओं का जीवन धन्य हो।